सरकार का क़दम इतना ठोस की उठता ही नहीं |
( विचार अड्डा )
(यू ही )
ई युग 4जी का है या माईनस 4जी यह न ही कुछ सुनल है और न ही कुछ देखल सब कुछ झेलल है ....आज बडे़ मनोरथ और मनोकामना से एक आवेदन को लेकर स्पीड पोस्ट करने आये वह भी मुख्य डाकघर में एक सभ्य नागरिक की तरह पंक्ति में खडे़ हुये दो तीन घंटे तक इंतजार करने के पता चला की बिजली चली गई उसके इंतजार में गले रहे तब पता चला की लिंक फेल है।
सभी खडे़ व्यक्तियों का कहना था कि पहले वाला समय ही सही था यह समय 4जी का है कि माईनस 4जी का संदेह लगता है।सरकार बुलेट ट्रेन,कैसलेस से लेकर अनेक तरह के विकास और नवीन प्रौद्योगिकी की बात की जा रही है।लेकिन जीस समय इनकी व्यवस्था चौपट होती है,उस समय यहीं लगता है मानो सरकार विकास के लिए जो ठोस कदम उठाती वह इतने ठोस होते .....हैं कि वह उठ ही नहीं पाते ...अगर उठे भी तो भ्रष्टाचार के फलेरीया को फोलो कर॥
सुनील ठाकुर
Comments
Post a Comment