अभी हम ज़िंदा हैं, भूल गए क्या?

                (विचार अड्डा-यूँ हीं)




       जब से टीवी ने घर पर घर किया , तब से एक और प्रचार ने भी लोगों को बेवकूफ़ बनाने की प्रक्रिया प्रारंभ किया है। ये बड़े ही आम हो कर भी ख़ास होते है क्योंकि यही तो आम से वस्तुयों और सेवाओं को ख़ास बनाते हैं। टीवी वाले ही प्रचार नहीं अपितु समाचार पत्रों में छपने वाले वर्गीकरण भी पता नहीं कितनों की शादी करा दी। वो भी उस समय बिना किसी डॉट कॉम वाली मेट्रीमोनियल जाल(वेबसाइट) के। कुछ ऐसी दिमाग़ के आंतरिक बत्ती जलाने वाले विज्ञापनों को tvf ने सलाम किया।


      पर सुबह ही अखबार के विज्ञापन ने यह  बताया कि अभी वह जिन्दा हैं।  वही जो ख़ुद को भगवान बताता था। अरे नहीं यार है  पर जेल में। बड़ा कमाल का व्यक्ति था वो जिसने पुलिस की पूरी औकात दिखा दी। हिसार वाले बाबा जी।
     अब इतने  वर्षों के बाद कौन उनको याद करे। वैसे भी आज कल रामदेव जी ने हॉटस्टार तक कब्ज़ा कर रखा है। जब देखिये तो दीपिका पादुकोण के वीवो वाली सेल्फ़ी के बाद आ जाते है पाम और मिनिरल ऑयल के साथ। फ़िर किसके पास  समय का जखीरा है कि वह साधना चैनल पर यह जानने का प्रयास करे कि
  1. ब्रह्मा , विष्णु, महेश के माता पिता कौन है?
  2. शेरावाली माता ( दुर्गा अष्टांगी ) का पति कौन है?
  3. श्री कृष्ण जी काल नहीं थे । फिर गीता वाला काल कौन है ?
इस प्रकार के बहुत सारे प्रश्नों  का जवाब  साधना टीवी , एसटीवी हरियाणा न्यूज़,ईश्वर टीवी , ख़बर फ़ास्ट पर मिल जाएगी। अगर आप अब भी बच गए हैं तो किसी ज्ञान गंगा में डूबकी की बात है। लेकिन इन सब के केबीसी वाले होस्ट हैं , जेल में बंद बाबा रामपाल।
         जब हम मुँह खोल कर यह उल्टी करते हैं कि फला व्यक्ति जेल में बंद है और चुनाव में सुचिता के मुद्दे पर गोबर कर रहा है। तब हमें थोड़ी अपच बचा लेनी चाहिए ताकि ऐसे लोगों के उल्टियां कर सके। गज़ब की बात तो यह है कि जागरूकता के ये दीवाने तो ख़ूब चिल्ला कर  कर बता रहे थे कि ये है वह बाबा जिसने सबको बंधक बना लिया था। फ़िर तीन साल बाद ही पहले पन्ने पर उनके ज्ञान की गंगा बहा रहे हैं। शायद विज्ञापन समझकर इसे भुला दिया जाय। परन्तु उसने बताया कि अभी वह जिंदा , उसका साम्राज्य भी ।

-रजत अभिनय और दिवाकर

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