तो क्या बीजेपी जीत रही है ?
(हस्तिनापुर के बोल)
यूपी का चुनाव अपने अंतिम पड़ाव पर पहुँच गया है । सातवें चरण के लिए चुनाव 8 मार्च को 40 सीटों के लिए होना है । इसी के साथ सभी दल जमकर चुनावी अखाड़ा लड़ रहें हैं । सभी अपनी पूरी ताकत के झोंके रहे वोटर को रिझाने के लिए । हर रोज घमासान मची हुई है । इधर अखिलेश रोड पर राहुल के साथ जा रहे हैं, तो मोदी उधर से पूरा मंत्रालय लेकर आ रहे है । वहीं मायावती अपने पुराने ढरे पर कागज के टुकड़े को भीड़ भरी रैलियों में सुना रहीं हैं । सपा को दुबारा सत्ता चाहिए , तो बसपा को फिर हाथी को दौड़ाना है । रालोद को भी उम्मीद है कि शायद इस बार कुछ अच्छा सौदा हाथ लग जाए । नागरिक विमानन ना सही , कम से कम PWD का ही समझौता हो जाए । भाजपा का तो सब कुछ दाव पर है , मोदी से लेकर नोटेबन्दी तक ।
चूँकि लोकसभा के चुनाव में बीजेपी ने 80 में से 71 सीटें जीतकर राजनीतिक पंडितों को चौका दिया था ,तो इस बार सब को लग रहा है कि राम लहर चल रही है । बरखा दत्त , रवीश कुमार, राजदीप सर देसाई जैसे लोगो ने तो सिर्फ इसारा किया , मगर प्रणव रॉय जी ने तो गुणा गणित कर दिया । 4 मार्च को प्रसारित शो में उन्हों ने जातिगत समीकरणों व पुराने नतीजों के आधार पर बताया कि बीजेपी के जीत ने का अवसर 55-65 फीसदी है ।
तो क्या बीजेपी जीत रही है ?
चूँकि लोकसभा के चुनाव में बीजेपी ने 80 में से 71 सीटें जीतकर राजनीतिक पंडितों को चौका दिया था ,तो इस बार सब को लग रहा है कि राम लहर चल रही है । बरखा दत्त , रवीश कुमार, राजदीप सर देसाई जैसे लोगो ने तो सिर्फ इसारा किया , मगर प्रणव रॉय जी ने तो गुणा गणित कर दिया । 4 मार्च को प्रसारित शो में उन्हों ने जातिगत समीकरणों व पुराने नतीजों के आधार पर बताया कि बीजेपी के जीत ने का अवसर 55-65 फीसदी है ।
तो क्या बीजेपी जीत रही है ?
Great good job
ReplyDelete